मैं गायक, तू प्यार भरा एक गीत नहीं तो क्या होगी,
मैं बंशीधर, तू मुरली का संगीत नहीं तो क्या होगी?
तू तारापति की शुभ्र चाँदनी,
तू रश्मिरथी की एक किरन,
चंचल शोख पवन का झोंका,
तू मृगतृष्णा मैं एक हिरन,
मैं कीट पतंगों की भाषा, तू ज्योति नहीं तो क्या होगी,
मैं गायक, तू प्यार भरा एक गीत नहीं तो क्या होगी,
मैं बंशीधर, तू मुरली का संगीत नहीं तो क्या होगी?
तू शर्म हया मेरे होंठों की,
तू मीठी मीठी एक जलन,
नयनों से ही कह देती है,
चाहत का हर एक कथन,
मैं अनुरागी, तू जीवन की एक रीति नही तो क्या होगी,
मैं गायक, तू प्यार भरा एक गीत नहीं तो क्या होगी,
मैं बंशीधर, तू मुरली का संगीत नहीं तो क्या होगी?
तू नींद मेरी तू स्वप्न मेरा,
तू मेरे घावों का चन्दन,
शबनम सी एक बूँद सही,
तू प्यास मेरी मेरा जीवन,
मैं संध्या का अरुणिम सूरज, तू प्रात नहीं तो क्या होगी,
मैं गायक, तू प्यार भरा एक गीत नहीं तो क्या होगी,
मैं बंशीधर, तू मुरली का संगीत नहीं तो क्या होगी?
तू मेरी आँखों का पानी,
तू मेरे ईश्वर का वंदन,
तू जीवन की कोख रही,
नवजात प्रभू का अनुक्रंदन,
मैं जीवन की हार सही तू जीत नहीं तो क्या होगी,
मैं गायक, तू प्यार भरा एक गीत नहीं तो क्या होगी,
मैं बंशीधर, तू मुरली का संगीत नहीं तो क्या होगी?
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नीरज द्विवेदी Neeraj Dwivedi
नीरज जी ,बहुत सुन्दर मन भावन रचना , पढ़ कर दिल खुश होगया !
ReplyDeletelatest post कानून और दंड
atest post गुरु वन्दना (रुबाइयाँ)
वाह नीरज जी ... बहुत ही सुन्दर गीत ... मनभावन ... हर छंद मन में उतर जाता है ...
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